तेरा ख्याल दिल से भुलाया न जायेगा
उल्फ़त की जिंदगी को मिटाया न जाएगा
आँखों से दिल का हाल छुपाया न जाएगा
मेरे दिल की खुशी इस तरह न लूटिए
मज़बूरियों ने छीन ली मुझसे अगर ज़ुबाँ
आँसू कहेंगे दिल के उजड़ने की दास्ताँ
अच्छा नहीं है यू गरीबों से दिल्लग्गी
ये घर उजड़ गया तो बसाया न जाएगा
©®@शकुंतला
फैज़ाबाद
वाह बहुत खूब
ReplyDeleteधन्यवाद मेरी प्यारी नीतू जी
Deleteबहुत खूब ...
ReplyDeleteलाजवाब शेर ... स्पष्ट से अपनी बात रखते हुए शेर ...
धन्यवाद आपको मेरी ये कोशिश पसन्द आई
Deleteउम्दा लाजवाब गजल ।
ReplyDeleteशुभ संध्या ।
शुक्रिया कुसुम दी
Deleteबेहतरीन, शब्दों का सुंदर प्रयोग।
ReplyDeleteशुक्रिया
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